परितोष वर्मा
(जयलोक)। भारत की आजादी के बाद से 75 साल के इतिहास में ये सबसे ज्यादा पैसा लोकसभा चुनाव में इस बार बरामद हुआ है। लोकसभा चुनाव के पहले ही चरण में 4658 करोड़ से अधिक की राशि देश के अलग-अलग हिस्सों में पकड़ी गई है। यह राशि वो है जो चुनाव में बाहर निकली है। चुनाव चल रहे हैं तो आयोग के निर्देश पर धरपकड़ तेज है। ऐसे में यह अनुमान भी लगाया जा सकता है कि इसके अलावा बचे हुए पौने पांच सालों में ये हवाला और अवैध रकम का कारोबार कितना बड़ा होगा। काले धन की जो बातें एक दशक से हो रही है वो हवा हवाई नहीं है बल्कि ऐसी बड़ी बड़ी राशियां मौजूद है जो काले धन के रूप में दबी हुई है। अब इस बार तो जप्त हुई रकम के आकड़ों को देखकर तो यह बिलकुल भी नहीं कहा जा सकता कि भारत एक गरीब देश है। जिस देश में हवाला कि रकम ही 4 से 5 हजार करोड़ के आकड़ों में बरामद हो रही हो वो देश गरीब कैसे रह सकता है। सिर्फ 44 दिन में चुनाव आयोग ने लोकसभा चुनाव से पहले 1 मार्च से 13 अप्रैल तक चेकिंग के दौरान देश भर में 4658.13 करोड़ रुपए जब्त किए हैं। इनमें कैश, सोना-चांदी, शराब, ड्रग्स और कीमती सामान शामिल हैं। लोकसभा चुनाव के 75 साल के इतिहास में ये अब तक की सबसे बड़ी जब्ती है।
हो रही है तरक्की
2019 में 3475 करोड़ रुपए सीज किए गए थे। चुनाव आयोग ने जो नवीन आकड़ें जारी किये हैं उसके अनुसार जनवरी और फरवरी में कुल 7502 करोड़ रुपए जब्त किए गए थे। इस तरह, जनवरी से 13 अप्रैल तक कुल 12 हजार करोड़ रुपए से अधिक की जब्ती की गई है। हर दिन करीब 100 करोड़ की जब्ती हो रही। आयोग के मुताबिक, 1 मार्च के बाद से जब्त किए गए सामान में 2068.85 करोड़ के ड्रग्स, 1142.49 करोड़ के मुफ्त में बांटे जाने वाले सामान, 562.10 करोड़ की कीमती धातुएं, 489.31 करोड़ की शराब और 395.39 करोड़ कैश शामिल है। कैश सहित सभी सामानों को मिलाकर हर दिन करीब 100 करोड़ रुपए सीज किए जा रहे हैं। सबसे ज्यादा कैश तमिलनाडु में 53 करोड़, तेलंगाना में 49 करोड़, महाराष्ट्र में 40 करोड़, कर्नाटक और राजस्थान में 35-35 करोड़ रुपए से ज्यादा जब्त किए गए हैं।
कर्नाटक में सबसे ज्यादा 124.3 करोड़ की शराब सीज की गई। इसके बाद पश्चिम बंगाल में 51.7 करोड़, राजस्थान में 40.7 करोड़, उत्तर प्रदेश में 35.3 करोड़ और बिहार में 31.5 करोड़ रुपए की शराब जब्त की गई। आयोग के आंकड़ों के मुताबिक, कुल जब्ती में 45 फीसदी ड्रग्स और नशीले पदार्थ हैं। गुजरात से सबसे ज्यादा करीब 485.99 करोड़ रुपए के ड्रग्स बरामद किए गए हैं। इसके बाद तमिलनाडु में 293.02 करोड़, पंजाब में 280. 81 करोड़, महाराष्ट्र में 213.56 करोड़ और दिल्ली में 189. 94 करोड़ के ड्रग्स जब्त किए गए हैं।
अब जब हमारे भारत देश के विभिन्न राज्य इतने सक्ष्म हैं कि वो काली धन की इतनी बड़ी -बड़ी राशि को हजम कर रहे तो फिर यह कहा जाना कि भारत एक गरीब देश है बिलकुल भी सही नहीं है। यह कहना भी सही नहीं है की भारत में काला धन नहीं है। अब केंद्र सरकार के सामने नई पारी का नया लक्ष्य भी मिल गया है। विदेशों में खोजे जाने वाला काला धन यही मौजूद है और अब उसकी तलाश बड़े स्तर पर होनी चाहिए।
(जयलोक)। भारत की आजादी के बाद से 75 साल के इतिहास में ये सबसे ज्यादा पैसा लोकसभा चुनाव में इस बार बरामद हुआ है। लोकसभा चुनाव के पहले ही चरण में 4658 करोड़ से अधिक की राशि देश के अलग-अलग हिस्सों में पकड़ी गई है। यह राशि वो है जो चुनाव में बाहर निकली है। चुनाव चल रहे हैं तो आयोग के निर्देश पर धरपकड़ तेज है। ऐसे में यह अनुमान भी लगाया जा सकता है कि इसके अलावा बचे हुए पौने पांच सालों में ये हवाला और अवैध रकम का कारोबार कितना बड़ा होगा। काले धन की जो बातें एक दशक से हो रही है वो हवा हवाई नहीं है बल्कि ऐसी बड़ी बड़ी राशियां मौजूद है जो काले धन के रूप में दबी हुई है। अब इस बार तो जप्त हुई रकम के आकड़ों को देखकर तो यह बिलकुल भी नहीं कहा जा सकता कि भारत एक गरीब देश है। जिस देश में हवाला कि रकम ही 4 से 5 हजार करोड़ के आकड़ों में बरामद हो रही हो वो देश गरीब कैसे रह सकता है। सिर्फ 44 दिन में चुनाव आयोग ने लोकसभा चुनाव से पहले 1 मार्च से 13 अप्रैल तक चेकिंग के दौरान देश भर में 4658.13 करोड़ रुपए जब्त किए हैं। इनमें कैश, सोना-चांदी, शराब, ड्रग्स और कीमती सामान शामिल हैं। लोकसभा चुनाव के 75 साल के इतिहास में ये अब तक की सबसे बड़ी जब्ती है।
हो रही है तरक्की
2019 में 3475 करोड़ रुपए सीज किए गए थे। चुनाव आयोग ने जो नवीन आकड़ें जारी किये हैं उसके अनुसार जनवरी और फरवरी में कुल 7502 करोड़ रुपए जब्त किए गए थे। इस तरह, जनवरी से 13 अप्रैल तक कुल 12 हजार करोड़ रुपए से अधिक की जब्ती की गई है। हर दिन करीब 100 करोड़ की जब्ती हो रही। आयोग के मुताबिक, 1 मार्च के बाद से जब्त किए गए सामान में 2068.85 करोड़ के ड्रग्स, 1142.49 करोड़ के मुफ्त में बांटे जाने वाले सामान, 562.10 करोड़ की कीमती धातुएं, 489.31 करोड़ की शराब और 395.39 करोड़ कैश शामिल है। कैश सहित सभी सामानों को मिलाकर हर दिन करीब 100 करोड़ रुपए सीज किए जा रहे हैं। सबसे ज्यादा कैश तमिलनाडु में 53 करोड़, तेलंगाना में 49 करोड़, महाराष्ट्र में 40 करोड़, कर्नाटक और राजस्थान में 35-35 करोड़ रुपए से ज्यादा जब्त किए गए हैं।
कर्नाटक में सबसे ज्यादा 124.3 करोड़ की शराब सीज की गई। इसके बाद पश्चिम बंगाल में 51.7 करोड़, राजस्थान में 40.7 करोड़, उत्तर प्रदेश में 35.3 करोड़ और बिहार में 31.5 करोड़ रुपए की शराब जब्त की गई। आयोग के आंकड़ों के मुताबिक, कुल जब्ती में 45 फीसदी ड्रग्स और नशीले पदार्थ हैं। गुजरात से सबसे ज्यादा करीब 485.99 करोड़ रुपए के ड्रग्स बरामद किए गए हैं। इसके बाद तमिलनाडु में 293.02 करोड़, पंजाब में 280. 81 करोड़, महाराष्ट्र में 213.56 करोड़ और दिल्ली में 189. 94 करोड़ के ड्रग्स जब्त किए गए हैं।
अब जब हमारे भारत देश के विभिन्न राज्य इतने सक्ष्म हैं कि वो काली धन की इतनी बड़ी -बड़ी राशि को हजम कर रहे तो फिर यह कहा जाना कि भारत एक गरीब देश है बिलकुल भी सही नहीं है। यह कहना भी सही नहीं है की भारत में काला धन नहीं है। अब केंद्र सरकार के सामने नई पारी का नया लक्ष्य भी मिल गया है। विदेशों में खोजे जाने वाला काला धन यही मौजूद है और अब उसकी तलाश बड़े स्तर पर होनी चाहिए।
