जबलपुर (जयलोक)
गलगला इलाके में बेलबाग पुलिस को चैकिंग के दौरान एक बावर्ची के पास से मिले 43 लाख रूपयों के मामले में जाँच आगे बढ़ती जा रही है। फिल्मी स्टाईल में एक जगह से दूसरे जगह पहुँचाइ जा रही इस रकम के पीछे कई लोगों का हाथ होने की बात सामने आ रही है। हालांकि अब तक पुलिस भी इस मामले में खुलकर कुछ नहीं बोल रही है। बेलबाग थाना प्रभारी प्रवीण कुमार का कहना है कि इस मामले की आगे की जाँच इंकम टैक्स टीम और आईबी की टीम कर रही है। जिसमें हवाला कारोबार से जुड़े लोगों के बारे में पूछताछ की जा रही है। पियूष का कहना है कि गुजरात के एक व्यापारी के कहने पर वह यह रकम लेकर शहर आया था।
खास बात यह है कि इस रकम की सप्लाई फिल्मी स्टाईल में की जानी थी। एक नोट का आधा हिस्सा पियूष के पास था तो वहीं दूसरे नोट का हिस्सा उस व्यक्ति के पास से जिसे यह रूपये सौंपे जाने थे।
हवाला कारोबार होने का खुलासा
बावर्ची के पास मिली इतनी बड़ी रकम होने से हवाला कारोबार होने का खुलासा हुआ है। युवक ने भी कबूला है कि यह पैसा गुजरात से आया है। जिसके बाद अब इन्कम टैक्स और आईबी की टीम शहर में हवाल कारोबार से जुड़े अन्य लोगों के बारे में पूछताछ कर रही है।
गुजरात के व्यापारी के बारे में मिली जानकारी
बेलबाग थाना प्रभारी का कहना है कि पैसों के साथ पकड़े गए युवक से जिस व्यापारी के कहने पर पैसों की सप्लाई करने की बात कही जा रही है उस व्यापारी के बारे में जानकारी मिली है। हालांकि यह मामला अब इन्कम टैक्स और आईबी को सौंप दिया गया है। अब इन्कम टैक्स की टीम गुजरात के व्यापारी से भी संपर्क कर सकती है।
शहर में किसे सौंपी जानी थी रकम
पुलिस, इन्कम टैक्स अधिकारियों के सामने अब भी यह पहली अनसुलझी पहेली की तरह बनी हुई है कि यह रकम शहर में किसे सौंपी जानी थी। वहीं इन पैसों को लेने कौन आने वाला था। युवक के पकड़े जाने के बाद हवालों कारोबार से जुड़े लोग अब सतर्क हो गए हैं।
पहले भी पकड़ी गईं रकमें
जबलपुर हवाला कारोबार से जुड़े लोगों को पहले भी पुलिस ने पकड़ा है। जिनसे बड़ी रकम बरामद की गई है। शहर भी हवाला कारोबार नेटवर्क का बड़ा अड्डा बनता जा रहा है। पूर्व में पकड़े गए लोगों से इस बात का खुलासा हुआ था कि कपड़े, ज्वेलरी, लोहे आदि के व्यापारी भी हवाला के जरिए पैसों का लेन-देन करते हैं। हवाला कारोबार में जाल इस तरह से शहर में फैला है कि एक युवक को दूसरे युवक के बारे में पूरी जानकारी नहीं रहती। इसमें पैसा सप्लाई करने वालों से लेकर पैसा पहुँचाने और पैसा लेने वाले दोनों पार्टियों के कर्मचारियों तक यह पैसा पहुँचता है। इस तरह का पैसों का लेनदेन ज्यादातर टैक्स बचाने के लिए किया जाता है। लेकिन पैसा लेने वाला और सप्लाई करने वाला दोनों एक दूसरे को नहीं जानते। इससे पकड़े जाने का खतरा काफी कम हो जाता है।
सोने पर होता है अधिक खर्चा
इस संबंध में यह भी जानकारी मिली है कि हवाला कारोबारी का अधिकांश पैसो सोने चांदी के आभूषण की खरीदी में टैक्स बचाने या फिर ब्लैक मनी को व्हाईट में बदलने के लिए सोने के आभूषण खरीदे जाते हैं। जिसकी सप्लाई हवाला के जरिए की जाती है।
इनका कहना है
पियूष नामक युवक से 43 लाख रूपये मिले थे। उसका कहना है कि गुजरात के एक व्यक्ति के कहने पर यह पैसा शहर लेकर आया है जिसे दूसरे व्यक्ति को सप्लाई करना था। आगे की जाँच इन्कम टैक्स और आईबी की टीम कर रही है।
प्रवीण कुमारबे,लबाग थाना प्रभारी
