30 हजार हुआ शमीम कबाड़ी पर इनाम
जबलपुर (जयलोक)। जबलपुर पुलिस के समक्ष दो गंभीर और चर्चित कांड के फरार आरोपी अब चुनौती बन चुके हैं। 70 दिनों से अधिक से फरार रेलवे अधिकारी और उसके 8 साल के बेटे की हत्या करने वाली उनकी नाबालिक बेटी और प्रेमी आज तक पुलिस को चकमा दे रहे हैं। दूसरी ओर बाईपास के पास स्थित खजरी खिरिया में शमीम कबाड़ी के गोदाम में हुए भीषण विस्फोट में दो लोगों के चिथड़े उड़ गए थे। ना तो मरने वालों के पूरे अवशेष मिल पाए और ना ही घटना के बाद से फरार हुए शमीम कबाड़ी के बारे में पुलिस को कोई जानकारी लग पाई।
जंग लग गई कार्यक्षमता को
वर्षों से एक ही विभाग में जमे बैठे लोगों की कार्य क्षमता और दक्षता पर जंग लग गया है। नए-नए ऊर्जावान और काम करने वाले लोगों को अब अवसर मिलना चाहिए ताकि वे जबलपुर पुलिस की साख को बचाने के लिए बेहतर प्रयास कर सकें और अपराधियों, फरार आरोपियों के खिलाफ प्रभावी कार्यवाही भी हो सके।
1 महीने से फरार है शमीम कबाड़ी, 2 महीने से अधिक समय से छका रहा है हत्यारा प्रेमी जोड़ा
25 अप्रैल 2024 को भीषण विस्फोट की घटना घटित हुई थी। खजरी खिरिया बाईपास के पास शमीम कबड्डी के कबाड़ खाने में हुए भीषण विस्फोट में दो लोगों के चिथड़े उड़ गए थे। यहाँ पर घटना की गंभीरता को देखते हुए एनएसजी, राष्ट्रीय सुरक्षा एजेंसी भी जाँच के लिए पहुचीं थी। घटना के बाद से शमीम फरार है जो आज एक महीने बाद तक भी पुलिस के हाथ नहीं लगा है। दूसरी ओर रेलवे कॉलोनी में रहने वाले 52 वर्षीय राजकुमार विश्वकर्मा और उनके 8 साल के बेटे तनिष्क को उनकी नाबालिग बेटी और उसके 20 साल के प्रेमी मुकुल सिंह ने बेरहमी से मौत के घाट उतार दिया था। इस घटना को भी दो महीने से अधिक बीत चुके हैं और यह शातिर प्रेमी जोड़ा हत्या की घटना को अंजाम देने के बाद से लगातार पुलिस को चकमा दे रहा है। यह प्रेमी जोड़ा लगभग पूरा हिंदुस्तान घूम चुका है। इनके ऊपर घोषित इनाम को भी बढ़ा दिया गया है। इनके फरार होने के पोस्टर भी पूरे हिंदुस्तान के विभिन्न पुलिस थानों को भेजे गए हैं। अभी इनके नेपाल में होने की सूचना सामने आ रही है हालांकि उनके बारे में अभी तक कोई ठोस सुराग नहीं लग पाया है।
शमीम कबाड़ी पर पुलिस ने इनाम की राशि को बढ़ाकर 30 हजार कर दिया है। लेकिन उसका कोई सुराग हाथ नहीं लगा है। कल प्रशासन ने कार्यवाही करते हुए कबाडख़ाने के अंदर दो मंजिला इमारत को तोड़ दिया है। यह दो मंजिला आलीशान इमारत बिना अनुमति के बनाई गई थी और इसके संबंध में किसी प्रकार के दस्तावेज माँगे जाने पर प्रशासन के समक्ष प्रस्तुत नहीं किए गए थे।
कहाँ है क्राइम ब्राँच और मुखबिर तंत्र क्या कर रहा साइबर सेल?
दोहरी हत्याकांड के फरार आरोपी और कबडख़ाने में घातक बमों का संग्रहण करने वाले कबाड़ी शमीम के फरार हो जाने के बाद से क्राइम ब्रांच साइबर सेल और पुलिस के मुख़बिर तंत्र पर सवालिया निशान खड़े हो रहे हैं। पुलिस को हमेशा अपराधियों से एक कदम आगे रहना चाहिए और इसी की ट्रेनिंग भी विभिन्न इकाइयों को समय-समय पर दी जाती है। लेकिन यहाँ ऐसा नजर नहीं आ रहा है, बल्कि अपराधी पुलिस से एक दो नहीं बल्कि 10 कदम आगे दिखाई पड़ रहे हैं।