
ग्वालियर/ भोपाल (जयलोक)। ग्वालियर नगर निगम के आयुक्त संघप्रिय गौतम की पोस्टिंग को हाईकोर्ट ने अवैध करार दिया है। दरअसल नगर निगम आयुक्त के पद के लिए सरकार को आदेश में धारा 54 के तहत डेपुटेशन पर भेजने का आदेश जारी करना था, जोकि नहीं किया गया। हाईकोर्ट ने इसी को आधार बनाते हुए उनकी नियुक्ति पर सवाल उठाए हैं। इस ऐतिहासिक फैसले में ग्वालियर हाईकोर्ट ने निगम में डेपुटेशन पर आए 61 कर्मचारियों को उनके मूल विभाग में वापस करने के आदेश भी दिए हैं। अब कोर्ट के इस आदेश के साथ ही मध्यप्रदेश सरकार अलग ही संकट में आ गई है। दरअसल कोर्ट ने जिस धारा 54 का उल्लेख करते हुए आयुक्त संघप्रिय गौतम की नियुक्ति को अवैध बताया है, उससे पूरे प्रदेश के नगर निगम आयुक्तों को बदलने या नए सिरे से उनके नियुक्ति आदेश जारी करने की नौबत आ गई है।
मूल विभाग छोडक़र नगर निगम में काम क्यों- हाईकोर्ट ने इन अधिकारियों से पूछा है कि वे अपना मूल विभाग छोडक़र नगर निगम में क्यों काम कर रहे हैं। अदालत ने निगमायुक्त संघप्रिय को नोटिस की तामीली की जिम्मेदारी दी है। इसके साथ ही, कोर्ट ने यह भी कहा है कि निगम के एडिशनल कमिश्नर अनिल कुमार दुबे को इस मामले में झूठा शपथ पत्र देने के लिए दोषी पाया गया है। हालांकि, उनके खिलाफ अवमानना की कार्रवाई का फैसला बाद में लिया जाएगा।

Author: Jai Lok
